दोस्तों मैं 20
साल का जवान लौंडा हूँ और मैं गुजरात के अहमदाबाद में रहता हूँ. बात यु हुई की
मैंने अपनी एक जवान पड़ोसन लड़की को पटा के चोदा. और ये बात हमारी एक पड़ोसन आंटी को
पता नहीं कैसे पता चल गई. वो आंटी 6थे माले पर रहती हे और मैं 5वे पर. शायद वो वही
होगी जब मैंने उस लड़की को अपने फ्लेट में चोदा और उसने चुदाई की मोअन और आवाजों को
सुनी होगी अपनी बालकनी में.
आंटी का नाम
प्रीति हे और वो करीब 45 साल की हे. वो लम्बी हे और बड़ी हॉट हे. आंटी की गांड भी
एकदम कातिल हे लेकिन बूब्स थोड़े छोटे हे. मैं हमारे फलेट में मेरी मोम के साथ रहता
हूँ. मोम अपनी जॉब की वजह से ऑलमोस्ट दिन में तो बहार ही रहती थी. और ये बात आंटी
को पता थी इसलिए उसने अपनी चाल चलनी चालू कर दी.
एक दिन मैं ऐसे
ही घर में अकेला था और आंटी ने डोरबेल बजाई. आंटी ने मुझे मम्मी के लिए पूछा,
लेकिन उसे तो पता ही था की मम्मी इस वक्त घर पर
नहीं होती हे. वो घर के अंदर घुसी और उसने दरवाजे को बंद कर दिया. मैं थोडा घबरा
के पीछे हटा और पूछा, क्या हुआ आंटी?
आंटी ने कहा,
बस देख रही थी की तुमने उस जवान लड़की जो कहा
चोदा था जो ऊपर तक आवाज आ रही थी.
मैं: क्या?
कौन सी लड़की?
आंटी: भोले भांड
मत बनो, वो शर्मा जी की लड़की हे
सेक्सी गांड वाली.
मैं उसे ही देख
रहा था. वो बोली, अब तेरे अंकल
पहले जैसा नहीं चोदते हे. और उन्हें अब मेरी चूत में इंटरेस्ट नहीं हे. मैं चाहती
हूँ की तुमने जैसे उस लड़की को चोदा था वैसे ही मुझे भी चोद के चीखने पर मजबूर करो.
वो लड़की साली क्या आह्ह्ह अहह कर रही थी, मैंने तो बालकनी में खड़े खड़े ही चूत मसल दी थी अपनी.
आंटी की बातें
सुन के मेरा लंड भी खड़ा हो रहा था. आंटी उम्र में मेरे से काफी बड़ी थी लेकिन हॉट
पूरी थी. उसको चोदने में भी कोई बुराई तो नहीं थी. मेरा साड़े पांच इंच का लोडा
आंटी की बातें सुन के मेरे बॉक्सर में ही खड़ा हो चूका था. आंटी के चहरे को देख के
लगता था की एक रफ सेक्स सेशन के लिए पूरी तरह से रेडी थी. मैंने अपने बॉक्सर के
ऊपर हाथ रख के कहा, आंटी कोई आ गया
तो?
वो बोली, अब भोले मत बनो बेटा, तेरी मम्मी शाम के पहले आएगी नहीं!
आंटी मेरे पास आ
खड़ी हुई और उसने बिना कुछ कहे मेरी कमर पर हाथ रख दिया. और उसने मेरी बॉक्सर को
निचे सरका दिया और मेरे लंड को सीधे अपने मुहं में डाल के चुसना चालू कर दिया. वो
लंड को डीप सक करते हुए मेरे बॉल्स को दबा रही रही. मैं तो जन्नत में था कसम से!
आंटी लंड चूसने की पक्की खिलाडी थी. मेरी लाइफ का वो सब से बेस्ट ब्लोवजोब था!
मैंने आंटी के
बाल पकड़ लिए और अपने लंड को उसके मुहं में ठोकने लगा. मैं कह रहा था,क चूस साली रंडी छिनाल, ले मेरा लोडा अपने गले में और चूस उसे. आज मैं तेरी चूत को
चोद चोद के फाड़ डालूँगा साली रंडी. चूस मेरी छिनाल प्रीति.
आंटी ने पांच
मिनिट तक लंड को सेक्सी ढंग चुसना चालु रखा और मेरे लोड को उसने अपने गले में ही
ले लिया. वो मुहं में वीर्य को भर के बेसिन के पास गई और मुहं धो के वापस आ गई.
आंटी ने काऊच के ऊपर बैठ के अपनी लेगिंग को निकाला और अपनी टांगो को खोल दिया. मैं
समझ गया की जैसे उसने जबान का जादू चलाया था उसका बदला वो मांग रही थी.
मैं अपने घुटनों
के ऊपर आ बैठा और मैंने आंटी के दोनों लेग्स को पकड़ लिया. फिर मैंने उसे थोडा टीज
किया हलकी हलकी बाईट कर के. मैं उसकी अंदर की जांघ को चूस रहा था. आंटी ने मेरे
बाल पकडे और मेरे मुहं को चूत की तरफ गाइड करने लगी.
आंटी की चूत पहले
से ही गीली थी. मैं उस मोटी चूत को चाटने लगा और उसके दाने को हाथ से मसलने लगा. 3
4 मिनिट में तो मैं उसकी चूत को एकदम चिकनी कर दी और उसके मुहं से जोर जोर से मोअन
निकल रही थी, अह्ह्ह्ह अह्ह्ह
चाट साले हरामी क्या मस्त चुस्ता हे तू मेरी चूत को, चोद ले अपने लोडे
से उसे और अपनी बना ले!
और वो ये सब बोलते हुए मेरे मुहं में ही झड़ भी गई. उतने में मेरा लंड भी फिर से कडक हो चूका था. मैं उठा और आंटी की गांड को स्लेप किया. और फिर मैंने उसके कान में कहा, आंटी आज मैं आप को अपनी रंडी बना के ऐसे चोदुंगा की आप को ये सेक्स लाइफ में याद रहेगा! आज के बाद तुम मेरे लंड को गुलाम बन जाओगी
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